वर्ष 2020 के नवंबर दिसंबर में कम दिनों के विवाह मुहूर्त के कारण लग्न की मारामारी रही। लगभग एक पखवारे की गहमागहमी के बाद अब इस साल के लिए बैंड, बाजा, बारात पर ब्रेक लग गया है। नए वर्ष में जनवरी, फरवरी और मार्च महीने में विवाह का कोई शुभ मुहूर्त नहीं है। इसके बाद चार महीने बाद नए वर्ष में अप्रैल महीने की 20 तारीख से शहनाई गूंजेगी।
श्री महामृत्युंजय महादेव मंदिर उतरी जयप्रकाश नगर के प्रधान पुजारी आचार्य शशिकान्त पाठक बताते हैं कि वाराणसी पंचांग के अनुसार इस वर्ष यानी 2020 में 13 दिसंबर को रात में 1 बजकर 39 मिनट तक शुभ लग्न मुहूर्त है। इसके बाद फिर दिनांक 16 दिसंबर को सुबह 6.47 बजे से खरमास आरंभ हो रहा है। खरमास में लगभग एक महीने तक वैवाहिक कार्यक्रम निषिद्ध होते हैं। पंचांग के अनुसार 14 जनवरी 2021 को दिन में 2 बजकर 3 मिनट पर खरमास समाप्त हो जाएगा।
अमूमन खरमास की समाप्ति पर हर वर्ष जनवरी महीने में शादियां होती थीं लेकिन इस बार 16 जनवरी 2021 से रात्रि 3 बजे से गुरु अस्त पश्चिम दिशा की ओर हो जाएंगे। 12 फरवरी 2021 को फिर पूरब दिशा में उदय होंगे।उसके बाद फिर 17 फरवरी 2021 को शुक्र पश्चिम दिशा में अस्त हो जाएंगे।
इसलिए इस बार जनवरी, फरवरी एवं मार्च माह में शुभ विवाह मुहूर्त नहीं बन रहे हैं। उसके बाद एक ही बार लंबे इंतजार के बाद शुभ विवाह मुहूर्त, 20 अप्रैल 2021 से शुरू हो रहा है।
दिसंबर से अप्रैल के बीच विवाह के शुभ मुहूर्त की कमी
आचार्य विप्रेन्द्र माधव बताते हैं कि मिथिला पंचाग के अनुसार जनवरी महीने में विवाह का कोई शुभ मुहूर्त नहीं है। इसके बाद फरवरी में 17 और 21 फरवरी को विवाह का शुभ मुहूर्त है। इसके बाद अप्रैल महीने में ही है। यानी मिथिला पंचाग के अनुसार भी दिसंबर से अप्रैल के बीच विवाह के शुभ मुहूर्त की भारी कमी है।
Input: Live Hindustan