उत्तराखंड में चारधाम के कपाट खुलने के लगभग 4 महीने के बाद शनिवार से चारधाम यात्रा शुरू होने जा रही है. इसके लिए उत्तराखंड सरकार ने शुक्रवार को चारधाम यात्रा की मानक प्रचालन प्रक्रिया (SOP) जारी कर दी है. केदारनाथ, बदरीनाथ, गंगोत्री व यमुनोत्री धाम में दर्शन के लिए आने वाले यात्रियों को रजिस्ट्रेशन करने के बाद ई-पास जारी किए जाएंगे. जिसके बाद ही चारों धामों में दर्शन करने की अनुमति मिलेगी.
दरअसल, प्रदेश के बाहर से आने वाले यात्रियों को स्मार्ट सिटी पोर्टल पर भी अनिवार्य रूप से रजिस्ट्रेशन करना होगा. कोरोना वैक्सीन की दूसरी डोज लगाने के 15 दिन के बाद प्रमाण पत्र दिखाने पर यात्रा की अनुमति दी जाएगी. लेकिन केरल, महाराष्ट्र और आंध्र प्रदेश से आने वाले यात्रियों को COVID-19 वैक्सीन की दोनों खुराकें लगवाने के बाद 72 घंटे पहले की कोविड जांच निगेटिव रिपोर्ट अनिवार्य की गई है.
उत्तराखंड सरकार ने जारी की एसओपी
Char Dham Yatra | Uttarakhand govt issued the SOP on Friday. Registration & e-pass will be mandatory for 'darshan' in the four dhams. Along with this, it's necessary for devotees to have either both the doses of #COVID19 vaccine or negative COVID report not older than 72 hours.
— ANI (@ANI) September 18, 2021
चारधाम यात्रा के लिए देवस्थानम बोर्ड की वेबसाइट पर कराना होगा रजिस्ट्रेशन
गौरतलब है कि सचिव धर्मस्व हरिचंद्र सेमवाल ने चारधाम यात्रा की एसओपी जारी की . इस बीच चारधाम देवस्थानम प्रबंधन बोर्ड ने भी एसओपी जारी कर दी है. दोनों एसओपी में एक समान नियम लागू हैं. चारधामों में यात्रा का संचालन 18 सितंबर से शुरू होगा. इस यात्रा में प्रदेश और बाहर से आने वाले यात्रियों को बिना शर्त अनुमति दी जाएगी. चारों धामों में दर्शन करने के लिए यात्रियों को सबसे पहले देवस्थानम बोर्ड की वेबसाइट पर रजिस्ट्रेशन करना होगा. जिसके बाद देवस्थानम बोर्ड की ओर से सीमित संख्या में रोजाना ई-पास के जारी किए जाएंगे. साथ ही मंदिर कैंपस के मेनगेट पर दर्शन करने से पहले यात्रियों का ई-पास चेक किया जाएगा.
कुंड में स्नान पर रहेगा प्रतिबंध
गौरतलब है कि कोरोना वायरस संक्रमण को देखते हुए चारधामों में दर्शन करने वाले यात्री भोग नहीं चढ़ाएंगे. इसके साथ ही मंदिरों में यात्रियों को तिलक भी नहीं लगेगा. मंदिर में मूर्तियों और घंटियों को छूने, तप्त कुंडों में स्नान पर प्रतिबंध रहेगा. केदारनाथ धाम में एक समय में 6 यात्री ही सभामंडप से दर्शन कर सकेंगे. गर्भगृह में जाने की अनुमति नहीं होगी. साथ ही यात्रा के दौरान मास्क, सोशल डिस्टेंसिंग, सैनिटाइजर का पालन करना अनिवार्य होगा. चारधाम यात्रा के दौरान रात 8 बजे से सुबह 5 बजे तक वाहनों का संचालन पूर्ण रूप से प्रतिबंधित रहेगा. एसओपी का पालन कराने की जिम्मेदारी जिला प्रशासन और एसडीएम की होगी.
चार धाम यात्रा के लिए ऐसे करेंगे रजिस्ट्रेशन
बता दें कि चारधाम यात्रा के लिए प्रदेश और बाहर से आने वाले सभी यात्रियों को देवस्थानम प्रबंधन बोर्ड की वेबसाइट https://badrinath-kedarnath.gov.in/ पर रजिस्ट्रेशन करना होगा. बाहरी राज्यों से आने वाले यात्रियों को सबसे पहले स्मार्ट सिटी पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन करना अनिवार्य होगा. जबकि प्रदेश के यात्रियों को इस पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन नहीं करना होगा. इस यात्रा के लिए ई-पास के लिए देवस्थानम बोर्ड की वेबसाइट पर रजिस्ट्रेशन करना होगा. जिसके बाद ई-पास जारी किए जाएंगे. जिन लोगों को कोरोना वैक्सीन की दोनों डोज 15 दिन पहले लग चुकी है, उन्हें कोविड जांच नहीं करानी होगी. एक डोज लगाने वाले को कोविड जांच की निगेटिव रिपोर्ट अनिवार्य है. साथ ही केरल, महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश से आने वाले यात्रियों को वैक्सीन की दोनों डोज लगाने के बाद 72 घंटे पहले की कोविड निगेटिव रिपोर्ट अनिवार्य होगा.
Source : TV9
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