पिछले एक महीने में 29 गांवाें में 200 लाेगाें की माैत हाे चुकी है। इनमें 15 लाेगाें की माैत काेराेना से हाेने का दावा प्रशासन के पास है। ये वे गांव हैं, जहां 5 या उससे अधिक लाेगाें की माैत हाे चुकी है। मुखिया के अनुसार, ज्यादातर मृत लाेगाें में सर्दी, खांसी और बुखार के लक्षण थे, लेकिन टेस्टिंग नहीं हाे पाने के कारण स्पष्ट नहीं है कि माैत की वजह काेराेना थी या कुछ और। हालांकि अभी भी इन गांवाें में सर्दी, खांसी और बुखार से लगभग 25 फीसदी लाेग पीड़ित हैं। इन गांवाें में काेविड टीकाकरण और जांच 10 फीसदी भी नहीं हाे पाई है।

साहेबगंज के माधोपुर हजारी, हिम्मत पट्टी और बंगरा निजामत में 28 की माैत, 2 थे संक्रमित

माधोपुर हजारी में 15 अप्रैल से 15 मई तक गांव में 15 लोगों की मौत हुई, जिसमें वार्ड 3 में ही 6 लोगों की मौत हुई। अभी पूरे गांव में सर्दी, खांसी, बुखार से करीब 200 लोग पीड़ित हैं। उधर हिम्मत पट्टी गांव में 6 लोगों की की माैत हुई। 100 लोग अभी भी सर्दी खांसी व बुखार से पीड़ित हैं। इसमें गांव के विश्वनाथ सिंह 61 साल की मौत घर पर ही कोरोना से हो गई। बंगरा निजामत गांव 7 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि करीब 1000 लोग सर्दी, खांसी, बुखार से पीड़ित है। गांव में एक की मौत कोरोना से हुई है।

बंदरा के हरपुर गांव में एक ही टोले के सात मृतक, 5 की कोरोना से 2 की सामान्य मौत

बंदरा की पिरापुर पंचायत के हरपुर गांव में एक महीने में 7 लोगों की मौत हुई है, जिसमें 5 काेराेना पाॅजिटिव थे, जबकि 2 लोगों की सामान्य मौत थी। साताें लाेग एक ही टोले के थे। जिला मुख्यालय से स्वास्थ्य विभाग की टीम आरटीपीआर जांच के लिए 100 लोगों की सैंपल ले गई थी। मुखिया गुड्डू कुमार ने बताया कि एक सप्ताह बाद भी रिपोर्ट नहीं आई है। इस गांव में 5 फीसदी लाेग सर्दी, खांसी व बुखार से पीड़ित हैं।

मुशहरी के 11 गांवाें में 90 लाेगाें की माैत, एक की भी जांच नहीं
मुशहरी के मुशहरी और बेदौलिया गांव में 15 अप्रैल के बाद अब तक 15 लोगों की, वैकठपुर में 15, रोहुआ में 10 से अधिक, मनिका विशुनपुर चांद में 10, छपरा मेघ में 7, प्रह्लादपुर में 5, डुमरी में 5, बुधनगरा में 7, रजवारा में 5, कन्हौली विशुनदत्त में 10 की मौत हो चुकी है।

पारू में 10 और कांटी में 10 लोगों की माैत, दाे में काेराेना की हुई थी पुष्टि

पारू के कसावा और पारू बाजार टोला में एक महीने में 10 लोगों की मौत हो चुकी है, जिसमे दो लोगों की माैत कोविड पॉजिटिव होने के कारण हुई है। इन गांवाें में सर्दी, खांसी बुखार से करीब 15 फीसदी लाेग पीड़ित हैं। मुखिया पति सह पूर्व मुखिया बदरुल हसन ने बताया कि मृत लाेगाें में 13 वर्ष से लेकर 60 वर्ष से ऊपर के लोग शामिल हैं। इधर, कांटी के आरिजपुर और कुशी गांव में 5 से अधिक मौत हुई है, मगर कोरोना की पुष्टि नहीं की गई है। इस बाबत दोनों जगहों पर जांच शिविर लगाकर जांच की गई। आरिजपुर की जनसंख्या 1850 है जबकि कुशी की 2500 है। सर्दी व बुखार के लक्षण दोनों जगह मिला कर 1200 के करीब हैं।

औराई के रतवारा में पांच की माैत, अब तक 35 की जांच
औराई के रतवारा में सामान्य तौर पर 5 लोगों की मौत के बारे में बताया गया है। गांव की सीमा से लगे रामनगर, पानापुर, बरैठा में सर्दी जुकाम से बड़ी संख्या में पीड़ित लोग थे, जिनमें अधिकांश लोग ठीक भी होने लगे हैं। जानकारी के बाद रतवारा में मात्र 35 लोगों के एंटीजन किट से जांच की बात बताई गयी है। विगत एक माह में लगभग 3600 लोगों के पूरे प्रखंड में वैक्सीनेशन एवं तीन माह में अब तक मात्र 14000 जांच की बातें बताई गई है।

सकरा के दाे गांवाें में 10 से अधिक, जबकि हथाैड़ी के 3 गांवाें में 25 से अधिक की मौत

सकरा के महमदपुर भोपत गांव में 5 लोगों की मौत हो चुकी है, जिनमें एक कोरोना जैसे लक्षण वाले थे, जांच किसी की भी नहीं हो पाई थी। यहां सर्दी और खांसी से करीब 900 लोग पीड़ित है। सिराजाबाद गांव में 5 से भी अधिक मौतें हुई हैं, जिनमें सभी को कोरोना जैसे लक्षण थे। करीब 3000 में 600 लोगों में सर्दी व खांसी की शिकायत है। मीनापुर के महदेइया गांव में 5 से अधिक लाेगाें की माैत हाे चुकी है। हथौड़ी के सहिलारामपुर में 10 और नरमा में 10 और बेरई में 5 की माैत हाे चुकी है।

Muzaffarpur Now – Bihar’s foremost media network, owned by Muzaffarpur Now Brandcom (OPC) PVT LTD