लगातार हो रही बारिश से एकबार फिर बाढ़ की स्थिति उत्पन्न हो गई है। निचले भूभाग में पानी प्रवेश कर चुका है। वहीं आवागमन की समस्या खड़ी हो गई है। 14 पंचायतों का प्रखंड मुख्यालय का से सड़क संपर्क भंग हो गया है। बसघटृा डायवर्सन में नाव परिचालन शुरू हो गया है। जलस्तर में वृद्धि जारी रही तो कई गांव जलप्लावित हो जाएंगे। जलस्तर में वृद्धि से अंदामा गांव टापू बन गया है। गांव से बाहर जाने की सड़क पहले ही तीन स्थानों पर टूट गई थी। उसकी मरम्मत भी नहीं हो पाई कि बाढ़ ने एकबार फिर से दस्तक दे दी। सोनपुर पंचायत का माधोपुर गांव भी पूर्णत: पानी से घिरा है।
यहां अधिकतर लोग किसान व पशुपालक हैं। साग-सब्जी की खेती जीविका का साधन है। लेकिन, बाढ़ में सब चौपट हो गया। किसान अशोक सिंह, प्रेम कुमार, सीताराम महतो, जयनारायण ठाकुर ने बताया कि सब्जी की खेती बह जाने के बाद पशु से दुग्ध उत्पादन पर आश्रित थे, लेकिन बाढ़ में सारा मैदानी भाग डूब चुका है। चारे की किल्लत हो गई है। ऐसे मे पशुओं की सुरक्षा कठिन हो गई है।
बसघटृा के पूर्व मुखिया विनोद दास का कहना है कि आवागमन से लेकर भोजन की समस्या जटिल हो गई है। सरकार से मदद की कोई उम्मीद नहीं दिखती। बाढ़ का पानी अबतक बसघटृा, मोहनपुर, बरैठा, माधोपुर, अंदामा, बकुची, पतांरी, गंगेया, नवादा, बर्री, कटरा, बसंत आदि गांवों में प्रवेश कर गया है। यहां लोगों में भय और चिंता है। अभी अधिकारियों ने क्षेत्र का जायजा भी नहीं लिया।
बागमती नदी पर स्थित पीपा पुल को संचालकों ने ऊंचा कर दिया है, किन्तु पहुंच पथ पर दोनों भाग में पानी चढ़ गया है जिससे आवागमन ठप हो गया है। इसके बंद होने से बसघटृा, खंगुरा, पहसौल, नगवारा, कटाई, यजुआर, लखनपुर, बेलपकौना, बंधपुरा, तेहवारा, बर्री आदि पंचायतों का आवागमन बाधित हो गया है। लोगों की चिंता है कि जलस्तर में वृद्धि जारी रही तो जान माल की रक्षा मुश्किल हो जाएगी।
औराई : बागमती नदी के जलस्तर में शुक्रवार को दूसरे दिन भी वृद्धि जारी है। इस कारण बागमती परियोजना उत्तरी और दक्षिणी बांध के बीच के निचले हिस्सों में बाढ़ का पानी फैलने की संभावना बढ़ गई है। जलस्तर में वृद्धि जारी रही तो बेनीपुर ,मधुबन प्रताप, पटोरी, चैनपुर, बारा खुर्द, बारा बुजुर्ग ,बभनगामा पश्चिमी, हरनी टोला, भरथुआ दक्षिण टोला,चहुंटा दक्षिण टोला समेत कई गांव के निचले हिस्सों में बाढ़ का पानी फैलना शुरू हो जाएगा।
Input : Dainik Jagran