बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपनी बहुप्रतीक्षित प्रगति यात्रा की शुरुआत आज पश्चिम चंपारण से की। इस यात्रा का उद्देश्य राज्य में विकास कार्यों की समीक्षा करना और लोगों से सीधे संवाद स्थापित करना है। प्रशासन ने इस यात्रा के लिए व्यापक तैयारियां की हैं, जिनमें सुरक्षा से लेकर जनभागीदारी सुनिश्चित करना शामिल है।
मुख्यमंत्री की इस यात्रा को लेकर JDU ने एक विशेष पोस्टर जारी किया है, जिसमें लिखा है, “जब बात बिहार की हो, नाम सिर्फ नीतीश कुमार का हो।” यह पोस्टर पटना समेत राज्य के अन्य जिलों में जगह-जगह लगाया गया है। इसके जरिए पार्टी मुख्यमंत्री को बिहार के विकास का प्रतीक बताने का प्रयास कर रही है।
मुख्यमंत्री की यात्रा के लिए सुरक्षा के विशेष इंतजाम किए गए हैं। लगभग 500 सुरक्षाकर्मी, 150 अधिकारी और मजिस्ट्रेट तैनात किए गए हैं। मुख्यमंत्री के हेलीकॉप्टर के लिए संतपुर के कदमहिया गांव में दो हेलीपैड तैयार किए गए हैं। यह गांव वाल्मीकि टाइगर रिजर्व के पास स्थित है, जहां मुख्यमंत्री का आगमन स्थानीय विकास की संभावनाओं को बढ़ाने वाला माना जा रहा है।
मुख्यमंत्री के स्वागत के लिए स्थानीय लोग बेहद उत्साहित हैं। खासतौर पर महिलाएं जीविका समूह और आंगनबाड़ी सेविकाओं के जरिए हस्तशिल्प और रंगोली तैयार कर रही हैं। मुख्यमंत्री के आगमन से पहले सरकारी योजनाओं पर तेजी से काम हो रहा है, जिससे लोगों में विकास की उम्मीदें बढ़ी हैं।
स्थानीय लोगों का कहना है कि जो कार्य सालों से लंबित थे, उन्हें अब प्राथमिकता के साथ पूरा किया जा रहा है। यह बदलाव मुख्यमंत्री के दौरे के कारण देखने को मिल रहा है। प्रशासन का भी दावा है कि इस यात्रा से संतपुर और आसपास के इलाकों के विकास को नई दिशा मिलेगी।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की प्रगति यात्रा को जनता से जुड़े मुद्दों को समझने और समाधान के लिए प्रभावी कदम उठाने की एक बड़ी पहल के रूप में देखा जा रहा है।