पटना, 01 अप्रैल।बिहार के बोधगया में ‘बौद्ध ध्यान एवं अध्यात्म केंद्र’ की स्थापना को मंजूरी दे दी गई है। इस महत्वाकांक्षी परियोजना के लिए 165.44 करोड़ रुपये स्वीकृत किए गए हैं। इसे स्वदेश दर्शन 2.0 योजना के तहत मंजूरी मिली है, जिसके तहत पहली किस्त के रूप में 16.54 करोड़ रुपये जारी किए गए हैं।
केसरिया स्तूप से प्रेरित होगा केंद्र का डिजाइन
पर्यटन मंत्रालय की मंजूरी और निगरानी समिति (CSMC) ने 27 मार्च 2025 को हुई बैठक में इस परियोजना को स्वीकृति दी। केंद्र का डिजाइन प्राचीन बौद्ध वास्तुकला, विशेष रूप से केसरिया स्तूप से प्रेरित होगा। राज्य सरकार बोधगया के धार्मिक और आध्यात्मिक महत्व को ध्यान में रखते हुए इस ध्यान एवं अध्यात्म केंद्र का विकास करेगी।
परियोजना की प्रमुख विशेषताएं
बौद्ध धर्म के अनुयायियों और पर्यटकों के लिए आध्यात्मिक केंद्र
यह केंद्र ध्यान, साधना और आध्यात्मिक शांति का अनुभव प्रदान करेगा।
परंपरागत बौद्ध वास्तुकला से प्रेरित संरचना
केंद्र का ढांचा प्राचीन बौद्ध स्तूपों की तर्ज पर विकसित किया जाएगा, जिससे यह धार्मिक और पर्यटन दोनों दृष्टि से महत्वपूर्ण होगा।
आधुनिक सुविधाओं से युक्त ध्यान केंद्र
ध्यान एवं साधना के लिए विशेष कक्ष, बौद्ध धर्म से जुड़ी डिजिटल प्रदर्शनियां और अन्य अत्याधुनिक सुविधाएं उपलब्ध होंगी।
आर्थिक और पर्यटन क्षेत्र में योगदान
इस परियोजना से स्थानीय अर्थव्यवस्था को बढ़ावा मिलेगा और बोधगया का धार्मिक पर्यटन नए आयाम तक पहुंचेगा।
वित्तीय प्रबंधन और कार्यान्वयन
इस परियोजना को लागू करने की जिम्मेदारी बिहार राज्य पर्यटन विकास निगम लिमिटेड (BSTDC) को दी गई है। साथ ही, भारतीय पर्यटन विकास निगम (ITDC) को इस योजना की केंद्रीय नोडल एजेंसी के रूप में नियुक्त किया गया है। केंद्र सरकार ने परियोजना के तहत पहली किस्त के रूप में 16.54 करोड़ रुपये जारी किए हैं, और आगे की धनराशि नियमानुसार जारी की जाएगी।
बिहार में धार्मिक पर्यटन को मिलेगा बढ़ावा
बोधगया विश्वभर के बौद्ध अनुयायियों के लिए एक महत्वपूर्ण तीर्थस्थल है। ‘बौद्ध ध्यान एवं अध्यात्म केंद्र’ की स्थापना से बिहार में धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा और बोधगया को एक वैश्विक आध्यात्मिक केंद्र के रूप में विकसित करने में सहायता मिलेगी।