बिहार विधानसभा चुनाव में पराजय की कसक झेल रहे पूर्व नगर विकास व आवास मंत्री सुरेश कुमार शर्मा ने दर्द बयां किया है। उन्होंने कहा है कि भीतरघात के कारण उनकी हार हुई। भाजपा में कांग्रेस कल्चर हावी हो रहा है। जरूरी है इन भीतरघातों की पहचान कर उन्हें बाहर का रास्ता दिखाया जाए।मालूम हो कि बिहार विधानसभा चुनाव में जीत व हार की समीक्षा पार्टी स्तर के साथ उम्मीदवार भी कर रहे।इसी कड़ी में भाजपा के वरीय नेता सुरेश शर्मा ने कहा कि विधानसभा चुनाव के बाद भाजपा में संगठन स्तर पर बड़ी समीक्षा की जरूरत है।
संगठन पर कांग्रेस कल्चर हावी
समस्तीपुर, वैशाली मुजफ्फरपुर समेत उतर बिहार के जिलों के संगठनों की पड़ताल हो। यह पता चले कि शक्तिकेन्द्र प्रभारी व जिला संगठन के बीच कहां पर कौन बाधक बना। जिस कारण परिणाम शत प्रतिशत नहीं मिला। उन्होंने कहा कि लग रहा है कि संगठन पर कांग्रेस कल्चर हावी होता जा रहा है। इस कल्चर का मतलब जिला स्तर पर संगठन चलाने वाले नेताओं को चुनाव में प्रदेश व राष्ट्रीय स्तर के साथ प्रत्याशियों ने भी सहयोग किया। सहयोग लेकर घर से बूथ तक नहीं जाना ही कांग्रेस कल्चर है। इससे पार्टी को कैसे निकला जाए इसके लिए चिंतन की जरूरत है। इसके साथ ही जिला संगठन, उस इलाके के विधान पार्षद व सांसद की गतिविधि की समीक्षा हो। जो कार्यकर्ता अपनी जवाबदेही के प्रति गंभीर नहीं दिखा हो उसको बाहर का रास्ता दिखाया जाए। इस तरह की समीक्षा केवल एक जिले की बात नहीं है पूरे बिहार स्तर पर समीक्षा होनी चाहिए। पूर्व मंत्री ने कहा कि चुनाव में अपने अनुभव को वह पार्टी के राज्य व देश स्तर के फोरम पर रखेंगे। संगठन आगे मजबूत हो इसके लिए अपनी ताकत लगाएंगे। आगे कहा, पीएम नरेन्द्र मोदी व मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व में चल रही योजना का लाभ गरीबों को मिले। इसके लिए जनजागरण अभियान चलाएंगे। शहर में जो विकास कार्य की नींव रखी वह पूरा हो। इसके लिए पूरी निगरानी रहेगी।
पूर्व मंत्री ने कहा कि अब उनकी तीसरी पीढ़ी भाजपा के साथ चल रही है। उनकी माता विद्यावती शर्मा वैशाली सीट से जनसंघ की टिकट पर चुनाव लड़ी। केवल 900 वोट के अंतर से पिछड गईं। उनको भी भाजपा ने वैशाली से लोकसभा का चुनाव लड़ाकर यहां पर संगठन को मजबूत करने का जिम्मा दिया। उसके बाद से वह लगातार चुनाव लड़ते रहे। यहां से दो बार चुनाव जीते। पुत्र राजीव शर्मा अब भाजपा की सेवा कर रहे है। पूर्व मंत्री ने कहा कि वह चुनाव हारने के बाद विचलित नहीं है। आने वाले दिन में संगठन की मजबूती के साथ जो भी विकास का काम हो रहा उसपर निगरानी रखेंगे।
Input: Dainik Jagran