बिहार में स्थानीय निकाय चुनाव से पहले RLSP चीफ उपेंद्र कुशवाहा को तगड़ा झटका लगा है। शनिवार (16 जनवरी, 2020) को उनकी पार्टी के राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष राजेश यादव और राष्ट्रीय प्रवक्ता सुबोध मेहता RJD में शामिल हो गए। दोनों नेताओं ने नेता प्रतिपक्ष और आरजेडी लीडर तेजस्वी यादव की मौजूद में पार्टी की सदस्यता ली। दोनों पहले ही राष्ट्रीय लोक समता पार्टी (RLSP) से इस्तीफा दे चुके हैं।
उपेंद्र कुशवाहा को ‘डबल शॉक’ ऐसे समय में लगा है कि जब राजनीतिक गलियारों में चर्चा है कि वो जल्द पार्टी का जेडीयू में विलय करा सकते हैं। हालांकि कुशवाहा और जेडीयू ने इसकी पुष्टि नहीं की है। मगर RLSP चीफ ने बीते दिनों सीएम नीतीश कुमार से मुलाकात की थी। बता दें कि बिहार में होली के बाद पंचायत चुनाव होने हैं। राज्य में अप्रैल मई तक पंचायत चुनाव होने की संभावना है।
उल्लेखनीय है कि उपेंद्र कुशवाहा ने साल 2013 में RLSP का गठन किया था। अगले ही साल हुए लोकसभा चुनाव में पार्टी भाजपा नीत एनडीए में शामिल हो गई और तीन सीटों चुनाव लड़ा। तीनों सीटों पर पार्टी के उम्मीदवार विजयी हुए। साल 2019 में पार्टी महागठबंधन का हिस्सी बनी और पांच सीटों पर चुनाव लड़ा। हालांकि इस बार एक सीट पर भी RLSP उम्मीदवार जीत हासिल नहीं कर सका। इधर पिछले साल हुए बिहार विधानसभा चुनाव में पार्टी महागठबंधन से अलग हो गई। कुशवाहा ने एक अलग फ्रंट में 104 सीटों पर चुनाव लड़ा मगर एक सीट पर भी जीत हासिल नहीं हुई।
चर्चा है कि उपेंद्र कुशवाहा लोकसभा और फिर विधानसभा चुनाव में बुरी तरह हार के बाद अपनी राजनीतिक जमीन बचाने में जुटे हैं। इसीलिए उन्होंने पिछले महीने सीएम नीतीश से मुलाकात की। तब पार्टी के एक प्रवक्ता ने बताया कि दोनों नेताओं ने एक अणे मार्ग पर सीएम से मुलाकात की थी। कुशवाहा, सीएम नीतीश पर तेजस्वी यादव की टिप्पणियों पर भी नाराजगी जता चुके हैं।
हालांकि राज्य में आपराधिक घटनाओं पर कुशवाहा सीएम नीतीश पर हमलावर हैं। उन्होंने शनिवार को जेडीयू को प्रमुख पर निशाना साधते हुए कहा कि उनके पैतृक गांव से हाजीपुर आते हुए बदमाशों की गोलियों से अधिवक्ता पप्पू झा की हत्या की खबर हृदयविदारक और अति निंदनीय है। कुशवाहा ने सीएम नीतीश कुमार से घटनाओं का संज्ञान लेने और अपराधियों की जल्द गिरफ्तारी व ठोस कार्रवाई करने की मांग की।
Input: Jansatta