मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में कांग्रेस के हाथ लगी करारी हार ने INDIA गठबंधन की एकता की कलई को खोल दिया है। एमपी में जहां कांग्रेस अपनी बड़ी जीत को लेकर तमाम दावे कर रही थी, राजस्थान और छत्तीसगढ़ तक में अपनी सरकार बचाने में कामयाब नहीं हुई। कांग्रेस की इस हार पर अब INDIA गठबंधन ने उसे नसीहत दी है। सपा ने इसे घमंड की हार कहा तो जेडीयू बोली कि ये इंडिया गठबंधन नहीं अकेले कांग्रेस की हार है। ये अकेले चुनाव नहीं जीत सकते।

एमपी, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में बीजेपी ने बंपर जीत के साथ हिन्दी बेल्ट में अपनी पकड़ और मजबूत कर ली है। 2024 से पहले बीजेपी की ये जीत लोकसभा चुनाव में उसकी हैट्रिक के लिए उम्मीद बनकर सामने आई है। रविवार देर शाम तीनों राज्यों में जीत के बाद पीएम मोदी ने इसे 2024 लोकसभा चुनाव का संकेत बताया तो इंडिया गठबंधन पर निशाना साधने से भी नहीं चूके।

पीएम मोदी ने कहा, “मेरी कांग्रेस और उसके साथियों को सलाह है कि ऐसी राजनीति न करें जो देश विरोधी हो और उससे देश कमजोर हो।” उधर, राहुल गांधी ने हिन्दी बेल्ट के तीनों राज्यों में करारी हार को स्वीकार करते हुए अपनी लड़ाई जारी रखने की बात कही है। उन्होंने ट्वीट में कहा कि हम जनादेश को विनम्रता से स्वीकार करते हैं। बीजेपी के साथ हमारी विचारधारा की लड़ाई जारी रहेगी।

हालांकि कांग्रेस के लिए राहत की बात यह है कि तेलंगाना में उसकी पहली बार सरकार बनाने जा रही है। यहां कांग्रेस ने 69 सीटों के साथ बहुमत का आंकड़ा आसानी से पार कर लिया। जीत का सेहरा तेलंगाना कांग्रेस चीफ रेवंत रेड्डी के सिर बंधा है। पूरी संभावना है कि वह प्रदेश के नए मुख्यमंत्री होंगे। उधर, बीआरएस 40 का आंकड़ा तक पार नहीं कर सकी। बीजेपी के खाते में 8 सीटें आई हैं।

तीन राज्यों में कांग्रेस की करारी हार पर INDIA गठबंधन का गुस्सा फूटा है। अखिलेश यादव की पार्टी सपा ने इसे कांग्रेस के घमंड की हार कहा। यहां यह भी गौर करने वाली बात है कि एमपी विधानसभा चुनाव से पहले अखिलेश और कमलनाथ में सीट बंटवारे को लेकर गहमा-गहमी सामने आई थी।

उधर, नीतीश कुमार की पार्टी जेडीयू ने कांग्रेस की हार पर नमक छिड़का है। कहा कि ये गठबंधन नहीं सिर्फ कांग्रेस की हार है। इस हार से यह भी साफ हो गया है कि कांग्रेस चुनाव अकेले नहीं जीत सकती।

मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव में बीजेपी 164 सीटें जीतकर पूर्ण बहुमत के साथ सरकार बनाने जा रही है। कांग्रेस के खाते में 65 सीटें आई। अन्य के पास एक सीट आई है। यहां बीजेपी की 2003 से सरकार है। हालांकि 2018 में दो साल के लिए कमलनाथ के नेतृत्व में कांग्रेस की सरकार बनी थी जो 2020 में गिर गई।

उधर, राजस्थान में शुरुआती मुकाबला कांटे का लग रहा था लेकिन, जल्द ही बीजेपी ने बढ़त हासिल की और फिर कांग्रेस को आगे बढ़ने का मौका नहीं दिया। बीजेपी ने यहां 115 सीटें जीतकर बहुमत हासिल कर लिया है। कांग्रेस को 69 सीट मिली हैं। वहीं, अन्य के खाते में 15 सीटें आई हैं।

छत्तीसगढ़ चुनाव बड़ा रोचक रहा। कई एग्जिट पोल्स में यहां कांग्रेस की जीत के दावे किए जा रहे थे लेकिन, बीजेपी ने सभी भविष्यवाणियों को धताते हुए यहां भी जीत दर्ज की है। बीजेपी के खाते में कुल 90 में से 54 सीटें आई हैं। जबकि कांग्रेस 35 से आगे नहीं बढ़ पाई। अन्य के पास एक सीट आई।

Source : Hindustan

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