मुजफ्फरपुर के ब्रह्मपुरा के पमरिया टोला से तीन साल पहले गायब हुई 5 साल की खुशी के अपहरण कांड में अब सीबीआई उसकी दादी उमा देवी (46 वर्ष) और मां मेनका देवी (28 वर्ष) की पॉलीग्राफ जांच कराने वाली है। इससे पहले सीबीआई खुशी के पिता राजन साह का भी पॉलीग्राफ टेस्ट करा चुकी है। ख़ुशी के पिता राजन साह ने अपनी मां और पत्नी की पॉलीग्राफ जांच होने पर नाराजगी जताई है।
उनका कहना है कि जब उनका पॉलीग्राफ जांच कराया गया था तो उसी वक़्त उनकी माँ और पत्नी की जांच क्यों नहीं कराई गई। कई महीने तक इसको क्यों खींचा गया। हालांकि परिवार ने पॉलीग्राफ जांच की अनुमति दे दी है। राजन साह ने जानकारी दी कि सीबीआई के अधिकारी ने बीते हफ्ते पॉलीग्राफ टेस्ट को लेकर कहा था। बता दें कि सीबीआई ने अपहृत खुशी का सुराग देने वाले को 5 लाख की ईनाम राशि देने का ऐलान कर रखा है।
बता दें कि ब्रह्मपुरा के पमरिया टोला में सरस्वती पूजा पंडाल में 16 फरवरी, 2021 की शाम में पांच वर्षीय खुशी खेल रही थी। साढ़े सात बजे के करीब जब खुशी नहीं दिखी तो परिजनों ने तलाश करनी शुरू कर दी। काफी खोजबीन करने के बाद भी उसका कोई सुराग नहीं मिला। जिसके बाद पिता राजन साह के आवेदन पर पुलिस ने जांच-पड़ताल शुरू की। बाद में हाई कोर्ट के आदेश पर केस सीबीआई को सौंपा गया।
Input : Hindustan