पेयजल संकट का असर लोगों की जेब पर भी पड़ने लगा है। बीते तीन महीने में बिजली बिल दोगुना से अधिक हो गया है। यह बीते साल से भी ज्यादा है। बिजली का खर्च बढ़ने का बड़ा कारण पानी है। लोग बताते हैं कि पहले उनके घर की पानी की टंकी भरने में जहां 15 मिनट लगता था, वहीं, अब 40-45 मिनट लग रहा है।
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चांदनी चौक के शिक्षक राजीव रंजन बताते हैं कि बीते साल भीषण गर्मी में भी पानी की टंकी अधिकतम आधे घंटे में भर जाती थी। बताया कि बीते साल मई में उनके घर का बिजली बिल 700 रुपये आया था। इस बार 1002 रुपये का बिल आया है। बिजली खर्च के बढ़ने की पुष्टि अन्य लोगों ने भी की है। संजय सिनेमा रोड के ललन सिंह भी कहते हैं कि इसबार करीब 12 सौ रुपये का बिल आया है। बिल में अंतर का बड़ा कारण पानी है। गर्मी है तो स्वाभाविक तौर पर पानी का खर्च भी बढ़ गया है। वहीं, पानी टंकी भरने में अब एक घंटा लग जा रहा है। जवाहर लाल रोड के अभय सिंह ने भी ऐसा ही मामला उठाया। वहीं, बालूघाट के अनिल कुमार राय कहते हैं कि पानी का लेयर नीचे जाने से दो बार मोटर जल गया। दो महीने में 3000 रुपये से ज्यादा खर्च हो गया है। सिकंदरपुर की शिक्षका मालती सिंह कहती हैं कि पानी के जार का भी खर्च बढ़ गया है। पहले 300 रुपये में काम चल जाता था। अब 500 रुपये लग रहा है। सुबह किसी कारण से सप्लाई नहीं हुई तो जार का पानी ही खर्च होता है।
Input : Hindustan