अगर आप साल भर यातायात के पूरे नियमों का पालन करते हुए वाहन चलाते हैं तो आपको वाहन बीमा के प्रीमियम में छूट मिल सकती है। भारतीय बीमा नियामक प्राधिकरण (इरडा) ने इसके लिए एक कमेटी का गठन किया है। यह कमेटी चालान को इंश्योरेंस प्रीमियम से जोड़ने की रणनीति पर काम कर रही है।

सूत्रों ने ‘हिन्दुस्तान’ को बताया कि ये कमेटी ऐसे सुझाव तैयार कर रही है जिससे अच्छे चालकों को इनाम मिले। ये इनाम बीमा प्रीमियम में छूट के रूप में होगा। ऐसी व्यवस्था पर काम हो रहा है जिसमें नियम तोड़ने वाले को तो उसकी कीमत चुकानी पड़ेगी, लेकिन जिसने नियम नहीं तोड़े हैं उन्हें उसका फायदा भी मिलेगा। अगर किसी का साल भर चालान न कटा हो, साथ ही उसने बीमा का क्लेम भी न लिया हो तो नो क्लेम बोनस का प्रतिशत बढ़ जाएगा। वहीं, नियम से गाड़ी चलाने के लिए ट्रैफिक विभाग प्वाइंट देगा जिससे अतिरिक्त छूट भी मिलेगी।

असली चुनौती

हालांकि कमेटी के सामने एक बड़ी चुनौती ट्रैफिक विभाग से मिलने वाले आंकड़ों को लेकर है। ऑटो क्षेत्र से जुड़े विशेषज्ञों की माने तो अभी इस बारे में कोई ऐसी व्यवस्था नहीं बन पाई है जिसके जरिए ट्रैफिक विभाग के आंकड़े बीमा कंपनियों को मिल सकें। शैलश कुमार सिन्हा ने हिंदुस्तान को बताया बिना इसके डिसकाउंट जैसी व्यवस्था प्रभावी तौर पर लागू करना संभव नहीं हो पाएगा। पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर देश की राजधानी दिल्ली में तो इसे लागू किया जा सकता है लेकिन देशभर में लागू करना मुश्किल होगा। इरडा की बनाई कमेटी के सामने सबसे बड़ी चुनौती एक ऐसा तकनीकी प्लेटफॉर्म तैयार करना होगी जिसके जरिए चालान के सारे आंकड़े बीमा कंपनियों को भी दिखते रहें।

सरकार ने कमेटी को विकसित देशों के नियम कानून के आधार पर नया सिस्टम बनाने का दारोमदार सौंपा है। कमेटी के सदस्य अपने अपने अधिकार क्षेत्र के दायरे में आने वाले विषयों का अध्ययन कर अपनी रिपोर्ट बनाने में जुटे हैं। ये रिपोर्ट इरडा को सौंपी जाएगी जिसके बाद सरकार इसके लिहाज से कानून में जरूरी बदलाव कर व्यवस्था को अमलीजामा पहनाएगी।

इंश्योरेंस को लेकर बड़ी तैयारी

आईसीआईसीआई लोम्बार्ड जनरल इंश्योरेंस में अंडरराइटिंग और क्लेम विभाग के प्रमुख संजय दत्ता ने हिंदुस्तान को बताया क नए नियमों के बाद 4 गुना से ज्यादा बढ़त गाड़ियों के इंश्योरेंश के रिन्यूअल में देखने को मिला है। बड़ी तादाद में इंश्योरेंश होने से हमारे सामने जरूरत के मुताबिक कर्मचारियों का भी संकट दिखाई दिया लेकिन इसके लिए हमने अपने दुसरे विभाग के कर्मचारियों को इंश्योरेंश के काम में लगाया है ताकि ग्राहकों को किसी तरह की दिक्कत न हो। उन्होंने ये भी कहा कि रिन्यूअल पर हमार पूरा फोकस है कि जल्द से जल्द लोगों को इंश्योरेंस दे रहे हैं ताकि उनका चालान न हो।

Input : Hindustan

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