पराजय की पीड़ा छिपाने के लिए विपक्ष धर्म के आधार पर गोलबंदी का आरोप लगा रहा हैं। लेकिन मुस्लिम बहुल इलाके में एनडीए उम्मीदवारों की जीत का आंकड़ा कुछ अलग ही किस्सा बयां कर रहा है। राज्य में 14 लोकसभा क्षेत्र ऐसे हैं। जहां जनसंख्या के आधार पर मुस्लिम वोटरों की तादाद 11 से लेकर 68 फीसदी तक है।
अधिकतम 68 फीसदी किशनगंज का है। यही इकलौती सीट है, जिस पर कांग्रेस की जीत हुई है। बाकी 13 पर एनडीए के उम्मीदवार जीते हैं। यहां से जीते कांग्रेस उम्मीदवार डॉ. जावेद को 33.32 और दूसरे नंबर पर रहे जदयू के महमूद अशरफ को 30.19 फीसद वोट मिला है।
कटिहार में मुस्लिम वोटरों की तादाद 44 है। जदयू के उम्मीदवार दुलाल गोस्वामी को 50.5 फीसद वोट मिला।
कांग्रेस के दिग्गज तारिक अनवर यहां से हारे। अररिया में भाजपा के प्रदीप सिंह को 52.87 फीसद वोट मिले। यहां मुस्लिम वोटर 42 फीसदी हैं।
संयोग से ऊपर के तीनों क्षेत्रों में मुस्लिम उम्मीदवार ही मुकाबले में थे। लेकिन, पूर्णिया में जदयू के संतोष कुशवाहा और कांग्रेस के उदय सिंह ऊर्फ पप्पू सिंह के बीच मुकाबला था। कुशवाहा को हासिल 52. 87 फीसद वोट बताता है कि धर्म के नाम पर ध्रुवीकरणनहीं हुआ।
दरभंगा में पिछले कई चुनावों में धर्म के नाम पर ध्रुवीकरण हो जाता था। इसबार भी आशंका थी। लेकिन ऐसा नहीं हुआ। क्योंकि राजद के अब्दुल बारी सिद्दीकी को महज 33.02 फीसद वोट आया। भाजपा के गोपालजी ठाकुर 60.79 फीसद वोट लेकर जीते।
सिवान और मधुबनी में टूटा रिकॉर्ड
सिवान और मधुबनी में 18 फीसद मुस्लिम वोटर है। दोनों सीटों पर कई बार मुस्लिम उम्मीदवार की जीत भी हुई है। 2019 के चुनाव में सिवान में जदयू की कविता सिंह की जीत हुई। उन्होंने बाहुबली मो. शहाबुद्दीन की पत्नी हेना शहाब को पराजित किया।
सिवान में धर्म के बदले भाकपा माले और मो. शहाबुददीन के समर्थन और विरोध में गोलबंदी होती थी। उधर मधुबनी में भाजपा उम्मीदवार अशोक कुमार यादव ने रिकॉर्ड बना दिया। उन्हें कुल वोटों का 61. 83 फीसदी हिस्सा मिला। इसके अलावा भागलपुर, शिवहर, बेगूसराय और खगड़िया में भी एनडीए के उम्मीदवारों की जीत हुई। यहां, 2014 में राज्य से चार मुस्लिम लोकसभा में गए थे। इसबार इनकी संख्या दो रह गई।
अल्पसंख्यकों की आक्रामक वोटिंग पैटर्न का दावा खारिज
वोटों का यह आंकड़ा धर्म के आधार पर गोलबंदी और अल्पसंख्यकों की आक्रामक वोटिंग पैटर्न के दावे को खारिज करता है। दरभंगा में मुस्लिम वोटरों की तादाद 23 फीसद है। पूर्वी चंपारण और सीतामढ़ी में मुस्लिम वोटर 21 फीसद बताए जाते हैं। दोनों सीटों पर एनडीए उम्मीदवारों की जीत 50 फीसद से अधिक के अंतर से हुई।
Input : Dainik Jagran