चंद्रयान-3 मिशन के महत्वपूर्ण हिस्से प्रज्ञान रोवर ने चंद्रमा की सतह पर मजबूती से खड़े विक्रम लैंडर की तस्वीर खींची है। इस छवि को इसरो ने अपने सोशल मीडिया हैंडल पर शेयर किया है। इस तस्वीर को रोवर ने अपने नेविगेशन कैमरे द्वारा कैद किया है।
चांद की सतह पर टचडाउन के बाद विक्रम लैंडर से अलग हुआ प्रज्ञान रोवर पिछले सात दिनों से अपने काम पर लगा है। रोवर चांद की सतह पर विद्यमान तत्वों की खोज कर रहा है। इस दौरान रोवर ने सल्फर और ऑक्सीजन के अलावा कई तत्वों की खोज की है। इन तत्वों के मिल जाने से इस बात की भी पुष्टि हो गई है कि चांद के दक्षिणी ध्रुव पर जल बर्फ मौजूद है। इससे यह संभावना भी बढ़ गई है कि चांद पर मानव कॉलोनियां संभव हैं। अपने मिशन में लगातार आगे बढ़ रहे प्रज्ञान रोवर ने बुधवार 30 अगस्त 2023 की सुबह विक्रम लैंडर की एक तस्वीर क्लिक की।
Chandrayaan-3 Mission:
Smile, please📸!
Pragyan Rover clicked an image of Vikram Lander this morning.
The 'image of the mission' was taken by the Navigation Camera onboard the Rover (NavCam).
NavCams for the Chandrayaan-3 Mission are developed by the Laboratory for… pic.twitter.com/Oece2bi6zE
— ISRO (@isro) August 30, 2023
इसरो ने इस तस्वीर को अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर साझा किया है। चंद्र मिशन की सफलता के लिए इसरो ने रोवर में महत्वपूर्ण NavCams कैमरों को फिक्स किया है। ये अत्याधुनिक कैमरे बेंगलुरु में इलेक्ट्रो-ऑप्टिक्स सिस्टम प्रयोगशाला (LEOS) द्वारा विकसित किए गए हैं। ये कैमरे रोवर की ‘आंखों’ की तरह काम करते हैं और चुनौतीपूर्ण चंद्र इलाके को पार करते समय उसका मार्गदर्शन करते हैं। वे चंद्रमा पर रोवर के सुरक्षित नेविगेशन को सुनिश्चित करते हुए, पथ योजना और बाधा निवारण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
गौरतलब है कि भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) द्वारा लॉन्च किया गया चंद्रयान-3 मिशन 23 अगस्त 2023 को चंद्रमा की सतह पर सफल लैंडिंग के बाद से महत्वपूर्ण प्रगति कर रहा है। मिशन ने भारत को चंद्रमा की सतह पर सॉफ्ट लैंडिंग हासिल करने वाला चौथा देश बना दिया है।
प्रज्ञान रोवर और विक्रम लैंडर बहुमूल्य वैज्ञानिक डेटा इकट्ठा करने के लिए मिलकर काम कर रहे हैं। रोवर दो पेलोड, अल्फा पार्टिकल एक्स-रे स्पेक्ट्रोमीटर (एपीएक्सएस) और लेजर प्रेरित ब्रेकडाउन स्पेक्ट्रोस्कोप (एलआईबीएस) से लैस है, जिसे चंद्र मिट्टी और चट्टानों की मौलिक और खनिज संरचना का विश्लेषण करने के लिए खास तौर पर डिज़ाइन किया गया है।
प्रज्ञान रोवर द्वारा ली गई विक्रम लैंडर की छवि मिशन में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है। यह न केवल रोवर और लैंडर के बीच सफल सहयोग को दर्शाता है बल्कि LEOS-विकसित NavCams की तकनीकी क्षमता को भी उजागर करता है। जैसे-जैसे मिशन जारी रहेगा, ऐसी और अधिक छवियों और डेटा से चंद्रमा की सतह के अनछुए पहलुओं पर प्रकाश पड़ने की उम्मीद है, जो चंद्रमा की हमारी समझ में योगदान देंगे।
Source : Hindustan