समस्तीपुर सुबह होते ही ट्रेन में अब ‘चाय-चायÓ की आवाज सुनाई नहीं देगी। इसकी जगह प्रशिक्षित वेंडर गुड मॉर्निंग और बेड टी के साथ यात्रियों को उठाएंगे। यह भी बताएंगे कि कौन सा स्टेशन आनेवाला है या ट्रेन कितनी विलंब से चल रही।
इंडियन रेलवे कैटङ्क्षरग एंड टूरिज्म कॉरपोरेशन (आइआरसीटीसी) ट्रेनों में काम करनेवाले वेंडरों को इसके लिए विशेष रूप से प्रशिक्षित कर चुका है। पहले चरण में मुजफ्फरपुर और पटना के प्रशिक्षण संस्थानों में 600 वेंडरों को प्रशिक्षण दिया गया है।
वेंडरों को कौशल विकास के तहत यात्रियों के साथ मधुर व्यवहार की ट्रेनिंग दी गई। इसकी शुरुआत एक महीना पहले पूर्व मध्य रेलवे से की गई। इस अंतराल में पाया गया कि यात्रियों से मधुर व्यवहार करने पर ट्रेन में यात्रा के दौरान होनेवाली शिकायतों पर भी विराम लगा है। फिलहाल, इस रूट में स्वतंत्रता सेनानी, बिहार संपर्क क्रांति और वैशाली एक्सप्रेस में प्रशिक्षित वेंडरों को ट्रायल के तौर पर लगाया गया है।
एसी से लेकर स्लीपर तक में लागू हुई व्यवस्था
यह व्यवस्था ट्रेन के स्लीपर क्लास से लेकर एसी बोगी तक में लागू की गई है। जहां ट्रेन के अंदर यात्री को देख वेंडर सुबह, दोपहर व शाम के अनुसार उनका अभिवादन करेंगे। सामान खरीदारी करने के दौरान पैसा लेने और खुले पैसे वापस करने के दौरान थैंक्यू कहेंगे। इस दौरान साफ-सफाई और रेल नियमों के पालन आदि के लिए भी प्रेरित करेंगे। इधर, रेल प्रशासन स्टेशन के वेंडरों को भी ट्रेङ्क्षनग देने में जुटा है। उन्हें यात्रियों के साथ सौम्य व्यवहार करने, खाना परोसने के सलीके, खाने की शुद्धता बनाए रखने आदि के बारे में बताया जा रहा।
एयर सर्विस से मिली प्रेरणा
आइआरसीटीसी के अधिकारियों ने बताया कि एयर होस्टेस के पैटर्न पर वेंडरों को प्रशिक्षित करने का निर्णय लिया गया। पहले चरण के परिणाम और फीडबैक से संतोषजनक प्रतिक्रिया मिली है।
इस संबंध में आइआरसीटीसी के क्षेत्रीय प्रबंधक राजेश कुमार ने बताया कि पूर्व मध्य रेलवे के 600 वेंडरों को प्रथम चरण में प्रशिक्षित कर लंबी दूरी की विभिन्न ट्रेनों में लगाया गया है। शीघ्र ही दूसरे चरण का प्रशिक्षण कार्य आरंभ होगा। कौशल विकास के तहत मिले इस प्रशिक्षण से आचरण संबंधी शिकायतों में 80 फीसद की गिरावट आई है।
Input : Dainik Jagran