शिवदाहा पंचायत के ग्रामीणों ने व्यवस्था की उदासीनता से त्रस्त होकर आवागमन की सुविधा के लिए जन सहयोग से खुद हीं चचरी का पुल बना दिया। इससे एक तरफ जहां ग्रामीणों की तारीफ हो रही है, वहीं दूसरी ओर व्यवस्था को करारा जवाब मिला है। ग्रामीण लड्डू कुमार, गोलु कुमार, जोगी दास, मनोज महतो, श्रवण कुमार,गोपाल मंडल,निरज कुमार,अभिषेक कुमार श्रीवास्तव, बमशंकर उपाध्याय, उपेन्द्र दास, किशोरी राय समेत कई ने बताया कि वर्ष 2018 में यहां स्थानीय विधायक के निधि से शिवदाहा-बरूआरी पथ पर प्रधानमंत्री सड़क का निर्माण हुआ।
इस सड़क मार्ग पर बरैल बनकट्टा पुल के पास भी सड़क कट गया। वहां भी ग्रामीणों ने चचरी पुल बनाकर आवागमन की शुरुआत की। शेष मार्ग आज भी उपेक्षित है। इस कारण यहां बाढ़ ने तबाही मचाकर कई सड़कें धवस्त कर दिया। ऐसे में ग्रामीणों के लिए गांव से बाहर निकलने में सभी को परेशानी हो रही थी। इससे सबसे अधिक परेशानी पंचायत के वार्ड , 1,2,3,4,5व 6 के ग्रामीणों को थी। लेकिन किसी ने भी इस पर ध्यान नहीं दिया। यहीं कारण है कि सभी ग्रामीणों ने खुद के सहयोग से यहां चचरी पुल बनाया है ताकि आवागमन में किसी प्रकार की परेशानी न हो।
जबकि यहां के पंचायत में कई सारे नेताए का आवास पड़ता है।यहां तक कि मुखिया व अन्य पंचायत प्रतिनिधियों ने भी इस पर पहल नहीं किया। इससे त्रस्त होकर ग्रामीणों ने स्वयं हीं जन सहयोग से चचरी का पुल बनाकर व्यवस्था को सबक दिया है। वहीं पंसस पति विजय राय, वार्ड सदस्य चतुरी शर्मा ने ग्रामीणों की तारीफ करते हुए कहा कि पिछले कई सालों से ग्रामीण इसको लेकर कष्ट में थे। बहरहाल ग्रामीणों का प्रयास काबिले तारीफ है।