स्मार्ट सिटी में एक बार फिर शहर को साफ रखने का दावा कमजोर और झूठा साबित हुआ है। राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित स्वच्छता सर्वेक्षण-2019 प्रतियोगिता में मुजफ्फरपुर शहर को 387वां रैंक मिला है। सफाई के मामले में शहर का कुल स्कोर 1319.91 ही हो सका। चौंकाने वाली स्थिति यह है कि सफाई के मामले में पिछले वर्ष के मुकाबले इस वर्ष शहर की स्थिति और बदतर हो गई है। शहर पिछले वर्ष से 39 रैंक और नीचे फिसल गया है। आंकड़े यही बता रहे है।
स्वच्छता सर्वेक्षण प्रतियोगिता 2018 में शहर का रैंक 348वां था। उस समय मुजफ्फरपुर शहर ने 1483.57 स्कोर पूरा किया था। बता दें कि राष्ट्रीय स्तर पर सबसे स्वच्छ शहर का खिताब एक बार फिर इंदौर के नाम रहा। बिहार में चारों स्मार्ट सिटी में पटना पहले स्थान पर है। देश स्तर पर स्वच्छता सर्वेक्षण प्रतियोगिता में अलग-अलग राज्यों के 4237 शहर शामिल हुए थे।
ऐसा कर इंदौर शहर ने लगातार तीसरी बार मारी बाजी
देश का यह पहला ऐसा डिस्पोजल फ्री मार्केट है जिसमें हाल ही में 56 दुकान क्षेत्र को शामिल किया गया है।
देश का पहला ऐसा शहर है जिसने ट्रेंचिंग ग्राउंड को पूरी तरह खत्म कर वहां नए-नए प्रयोग करने शुरू किए हैं।
29 हजार से अधिक घरों में गीले कचरे से होम कम्पोस्टिंग का काम।
कचरा गाड़ियों की मॉनिटरिंग के लिए जीपीएस, कंट्रोल रूम और 19 जोन की अलग-अलग 19 स्क्रीन।
100 फीसदी कचरे की प्रोसेसिंग और बिल्डिंग मटेरियल और व्यर्थ निर्माण सामग्री को जमा कर निस्तारण किया गया।
चारों स्मार्ट सिटी का ये रहा हाल
पटना का रैंक- 318, स्कोर – 1685.55
मुजफ्फरपुर का रैंक- 387, स्कोर – 1391.91
बिहारशरीफ का रैंक – 391, स्कोर – 1300.76
भागलपुर का रैंक -412, स्कोर – 1067.38
नोट : बुधवार को जारी रैंकिंग के आंकड़े।
नियमित होगी निगरानी
स्वच्छता सर्वेक्षण के रिजल्ट से चकित हूं। अगली बार राष्ट्रीय स्तर पर बेहतर रैंक हासिल हो इसके लिए मैं पूरा प्रयास करूंगा। सफाई की नियमित निगरानी होगी। सुरेश कुमार, मेयर
मानक के अनुसार तैयारी हो
शहर की सफाई व्यवस्था में कहां कमी रह जा रही है। चिह्नित कर वैसी कमियों को दूर करना होगा। प्रतियोगिता के समय इस बात का पूरा ख्याल रखना होगा कि स्वच्छता सर्वेक्षण के तय मानक के अनुसार तैयारी की जाए। -मानमर्दन शुक्ला, डिप्टी मेयर
Input : Dainik Bhaskar