बिहार के नगर निकाय चुनावों में पिछड़ा और अति पिछड़ा वर्ग को आरक्षण का लाभ दिए जाने के मसले पर पटना हाई कोर्ट में आज सुनवाई हुई। पटना हाईकोर्ट ने नगर निकाय आरक्षण मामले में दायर पुनर्विचार याचिका पर सुनवाई करते हुए इस मामले को ईबीसी कमीशन के समक्ष भेजने के लिए कहा है और ईबीसी कमीशन को सुप्रीम कोर्ट द्वारा निर्धारित दिशा निर्देशों के आलोक में रिपोर्ट देना है। हाईकोर्ट ने स्पष्ट किया कि ईबीसी कमीशन की रिपोर्ट के आने के बाद बिहार के निकाय चुनाव आयोजित कराए जायें।

हाईकोर्ट ने इस मामले को राज्य सरकार के अंडरटेकिंग के आलोक में निष्पादित कर दिया । सुनवाई में राज्य सरकार ने अपना अंडरटेकिंग कोर्ट को देते हुए इस मामले को ईबीसी कमीशन भेज कर कमीशन की रिपोर्ट के आधार पर चुनाव कराये जाने चाहिए।

tanishq-muzaffarpur

समान्य वर्ग का चुनाव क्यों नहीं कराया जा सका?

सुनवाई में राज्य सरकार का पक्ष सुप्रीम कोर्ट के वरीय अधिवक्ता विकास सिंह ऐवं वरीय अधिवक्ता मनिंदर सिंह ने रखा । वरीय अधिवक्ता विकास सिंह ने मुख्य न्यायाधीश की खंडपीठ द्वारा पूर्व में पारित आदेश में त्रुटि बताते हुए कोर्ट को बताया कि आरक्षण का प्रावधान केवल ईबीसी के लिए है न कि ओबीसी के लिए । सुनवाई के दौरान मुख्य न्यायाधीश ने चुनाव आयोग से जानना चाहा कि ओबीसी एवं ईबीसी के अलावा समान्य वर्ग का चुनाव क्यों नहीं कराया जा सका? इस पर आयोग की ओर से सुप्रीम कोर्ट के वरीय अधिवक्ता दिनेश द्विवेदी ने बताया कि बार बार चुनाव कराना अपने आप में एक बेहद कठिन कार्य है । उन्होंने चुनाव आयोग के खिलाफ की गई कोर्ट की टिप्पणियों को पारित फैसले से हटाने की गुहार की।

10 अक्‍टूबर को होना था मतदान

गौरतलब है कि बिहार में नगर निकाय चुनाव की अधिसूचना पहले ही जारी हो गई थी। उम्‍मीदवार नामांकन पत्र दाखिल कर चुके थे। 10 अक्‍टूबर को होने वाले पहले चरण के चुनाव के लिए चुनाव चिह्न भी आवंटित कर दिए गए थे। उम्‍मीदवार चुनाव प्रचार में जोर-शोर से लगे थे। इसी बीच पटना हाई कोर्ट के फैसले से सबकुछ फंस गया।

Source : Dainik Jagran

ramkrishna-motors-muzaffarpur

nps-builders

Genius-Classes

Muzaffarpur Now – Bihar’s foremost media network, owned by Muzaffarpur Now Brandcom (OPC) PVT LTD

Leave a comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *