पटना पुलिस ने एक ऐसे साइबर क्रिमिनल को गिरफ्तार किया है जिसने दो साल पहले इंटर पास किया था और फिर जॉब खोजते-खोजते साइबर फ्रॉड गिरोह के सरगना के संपर्क में आ गया. हैरानी की बात है कि जॉब खोजने वाला यह युवक सायबर क्राइम में शामिल होकर हर साल दो से ढाई करोड़ की कमाई कर रहा है. पत्रकार नगर थाने की पुलिस ने साइबर फ्रॉड करने वाले शख्स विकास चौधरी को गिरफ्तार किया है. विकास मूल रूप से नालंदा के तेलमर थाना क्षेत्र का रहने वाला बताया जाता है.
उसके पास से पुलिस ने ढाई लाख कैश के अलावा चार डेबिट कार्ड, नौ पासबुक और दो चेक बुक भी बरामद किया है. दरअसल पत्रकार नगर थाने की पुलिस देर रात गश्ती पर निकली थी और इसी दौरान स्कूटी सवार यह फ्रॉड योगीपुर नहर के पास पकड़ लिया गया. जब उसके स्कूटी की तलाशी ली गई तब कई राज खुल कर सामने आए. फिलहाल यह फ्रॉड पत्रकार नगर थाना क्षेत्र के ही बाईपास इलाके में किराए का फ्लैट लेकर रहता है. पुलिस अधिकारियों की मानें तो उसके फ्लैट में तीन और साइबर अपराधी मौजूद थे लेकिन पुलिस की कार्रवाई की भनक पाते हुए मौके से फरार हो गए.
पटना एसएसपी मानवजीत सिंह ने बताया कि गिरोह के सदस्यों की गिरफ्तारी के लिए अलग से टीम गठित कर दी गई है. पुलिस अधिकारियों ने बताया कि विकास जिस गिरोह के लिए काम करता है उस गिरोह का सरगना नालंदा जिले के कतरी सराय का रहने वाला है. हालांकि उसके नाम की जानकारी फिलहाल पुलिस नहीं दे रही है. पुलिस ने बताया कि उसके पास मिले पासबुक में एक एचडीएफसी के खाते का ट्रांजैक्शन डिटेल पुलिस को मिला है और ढाई सौ पन्ने के ट्रांजैक्शन डिटेल से पता चला है कि विकास को कमीशन के रूप में 1 साल में 67 लाख मिले हैं.
पुलिस अधिकारियों की मानें तो विकास के गिरोह में करीब 30 लोग शामिल हैं. यह सभी नालंदा के साथ-साथ बिहार के दूसरे शहरों में रहकर साइबर ठगी करते हैं. इसके अलावा गिरोह सट्टेबाजी भी करता है. विकास ने पुलिस को इस बात की जानकारी दी है कि उसका गिरोह लोगों को केवाईसी अपडेट कराने से लेकर लोन देने, गिफ्ट वाउचर, फ्रेंचाईजी की आड़ में झांसा देकर ठगी करता है.
Source : News18